1 आनन्द मनायें आओ आनन्द मनायें,
यीशु राजा मेरा हो गया,
इस सृष्टि का पालनहारा
मेरे हृदय का राजा हुआ ।
कोः- आहा आनन्द है! परम आनन्द है!
यह ही मेरा सौभाग्य है!
इस सृष्टि का पालनहारा
मेरे हृदय का राजा हुआ ।
2 मेरे बालकपन से उसने मुझे चुन लिया
मैं था भटका और दूर हो गया,
उसकी करूणा ने फिर भी नहीं छोड़ा
नया जीवन मुझे दे दिया।
3 मैं बना रहूँगा प्रेम में अपने प्रभु के
चाहे कोई भी बाधा पडे़,
उसकी आज्ञा को नहीं भूलूंगा
जब तक उसका आना न हो ।
4 प्यारा प्रभु आयेगा संग में मुझे ले लेगा
ताकि उसके साथ मैं रहूं,
मैं मगन रहॅूगा उसकी संगति में
जहाँ आनन्द ही आनन्द है।