Return to Index

562

563

विनाश से पहले मन में घमंड होता है

564
SongInstrumental

विनाश से पहले मन में घमंड होता है, ठोकर खाने से पहले गर्व बढ़ता है, जब अभिमान ज्यादा होता है, तब अपमान भी पीछा करता है। नम्रता और खुदा का खौफ हो हरदम, धन - इज्जत और लंबी आयु है इनाम, ईश्वर अहंकारियों के विमुख रहता है, जिसे चाहे नीचा जिसे चाहे राजा बनाता है। निःसंदेह बाबुल का बादशाह था नबूकदनेस्सर, शान - धन और ऐश में बढ़ गया था अहंकार, ईश्वर की और से तुरंत आज्ञा आई भयंकर, राजा ने खाई घाँस जंगल में जैसे जानवर।